सोनीपत/सन्नी मलिक
सोनीपत के गांव बिंधरोली गांव के सरपंच के खिलाफ गांव का ही एक युवक लघु सचिवालय में धरने पर बैठ गया है. युवक का आरोप है कि गांव के सरपंच ने चुनाव लड़ने के दौरान जो मार्कशीट लगाई थी वह फर्जी है.
युवक के पास जो मार्कशीट है और जो अधिकारी उसे दिखा रहे हैं वह दोनों भी मेल नहीं खा रही. वहीं जब मामला बीडीपीओ के पास पहुंचा तो वह भी कोई सटीक जवाब नहीं दे पाए और मामले में सिर्फ जांच की बात कह कर ही चुप हो गए.
गांव बिंधरोली निवासी संदीप का आरोप है कि गांव की सरपंच गीता ने चुनाव लड़ने के दौरान जो मार्कशीट लगाई थी वह यूपी के एक स्कूल की है और वह फर्जी है. मार्कशीट में जो दिनांक दाखिले की दिखाई गई है, उस दिन रविवार था. संदीप ने RTI के जरिए स्कूल से गीता के बारे में जानकारी मांगी तो स्कूल ने बताया कि इस तरह का कोई दाखिला ही नहीं हुआ था.
युवक का कहना है कि जब वह अधिकारियों के पास जाता है तो उसे पागल कह कर वहां से वापस भेज देते हैं, जबकि आरटीआई का कोई जवाब भी यहां के पंचायत अधिकारी नहीं दे रहे हैं.
पूरे मामले में पंचायत अधिकारी बीडीपीओ से बातचीत की गई तो वह भी कोई सटीक जवाब नहीं दे पाए. उन्होंने कहा कि उनके उच्च अधिकारियों ने इस मामले में जांच कर ली है, लेकिन जांच में क्या मिला और क्या नहीं मिला इस बात का जवाब नहीं दे पाए. उन्होंने खुद कहा कि यह मामला 2014 में भी सामने आया था. लेकिन मार्कशीट फर्जी है या नहीं है, इसके बारे में कोई पुख्ता जानकारी नहीं मिल पाई है. जब उनसे पूछा गया कि शिकायतकर्ता पागल कैसे है तो वह कोई भी जवाब नहीं दे पाए और उन्होंने कहा कि वह जल्द ही इस मामले में जांच पूरी करके उच्च अधिकारियों को सौंप देंगे और जो भी डॉक्यूमेंट संदीप ने मांगे हैं वह उसे दे दिए जाएंगे.